Sunday 7 February 2016

लखावत ने जमीन पर बैठकर ली सरकारी बैठक। अफसर ने बनाया प्रधान पत्नी का जश्न


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7 फरवरी को राजस्थान धरोहर संरक्षण एवं प्रोन्नति प्राधिकरण के अध्यक्ष औंकारसिंह लखावत ने ऐतिहासिक बूढ़ा पुष्कर के संरक्षण और विकास के खातिर जमीन पर बैठकर सरकारी बैठक ली तो वही अजमेर जिला परिषद के सीईओ राजेश चौहान ने अपनी पत्नी श्रीमती शोभा चौहान की सफलता का शानदार जश्न मनाया। चौहान की पत्नी शोभा पाली जिले की रायपुर पंचायत समिति की प्रधान हैं। प्रधान के रूप में शोभा का एक वर्ष का कार्र्यकाल पूरा होने पर 7 फरवरी को रायपुर के निकट भैंरू का नाका में एक आयोजन किया गया। राज्यमंत्री का दर्जा प्राप्त लखावत इन दिनों प्रदेश भर के ऐतिहासिक और धार्मिक स्थलों का जीर्णोद्धार कर रहे हंै। इसी क्रम में अजमेर के निकट ऐतिहासिक बूढ़ा पुष्कर तालाब का जीर्णाेद्वार भी किया जा रहा है। इसी को लेकर लखावत ने 7 फरवरी को बूढ़ा पुष्कर तालाब  के फीडर निर्माण क्षेत्र में ही सरकारी बैठक ली। इसके लिए न कोई टेन्ट लगाया और न ही कुर्सी। तालाब की रेत में ही लखावत के साथ जिला कलेक्टर डॉ.आरुषि मलिक और प्रशासन के अन्य अधिकारी बैठे। पुष्कर नगर पालिका के अध्यक्ष कमल पाठक, अजमेर नगर निगम के उपमहापौर संपत सांखला, भाजपा के वरिष्ठ नेता कंवल प्रकाश किशनानी आदि को भी लखावत के साथ रेत में ही बैठना पड़ा। लखावत का कहना रहा कि वे ग्रामीण पृष्ठभूमि के नेता हैं इसलिए रेत में बैठने का पुराना अनुभव है। उन्होंने माना कि मंत्री और बड़े अधिकारी थ्री स्टार होटलों और एसी कमरों में ही बैठक करने को उत्सुक रहते हंै, लेकिन कभी-कभी अधिकारियों को अपनी मिट्टी से भी जुडऩा चाहिए। लखावत ने कलेक्टर डॉ.मलिक की इस बात के लिए प्रशंसा की कि वे उनके आग्रह पर रेत में बैठीं हैं। लखावत ने कहा कि जब कलेक्टर के मन में इतनी पीड़ा है तो उन्हें उम्मीद है कि आगामी बरसात में बूढ़ा पुष्कर के तालाब में पानी आ ही जाएगा। लखावत ने कहा कि सभी को मिलकर बूढ़ा पुष्कर के विकास में आने वाली बाधाओं को हटाना चाहिए।
अफसर ने मनाया जश्न :
बूढ़ा पुष्कर के विकास के खातिर जहां रविवार को अवकाश के दिन भी मंत्री और कलेक्टर रेत में बैठे, वहीं अजमेर जिला परिषद के सीईओ राजेश चौहान ने अपनी प्रधान पत्नी का एक वर्ष का कार्यकाल पूरा होने पर शानदार आयोजन किया। पाली जिले के भैरू का नाका में हुए इस आयोजन में जिला परिषद के अधिकारी और कर्मचारी भी शामिल हुए।
नोगिया का भी एक वर्ष पूरा :
अजमेर की जिला प्रमुख सुश्री वंदना नोगिया का भी एक वर्ष का कार्यकाल पूरा हो गया है। सीईओ चौहान ने तो अपनी प्रधान पत्नी के कार्यकाल का जश्न मना लिया, लेकिन नोगिया अपने एक वर्ष के कार्यकाल का जश्न कब मनाएंगी, इसकी अभी घोषणा नहीं हुई है। वैसे नोगिया का एक वर्ष का कार्यकाल विवादों से घिरा रहा है। पूर्व में सरकारी वाहन पर लालबत्ती लगाने को लेकर विवाद हुआ तो फिर जिले के विधायकों का सहयोग नहीं मिलने को लेकर भी वंदना नाराज रहीं। असल में वंदना को राजनीति का अनुभव नहीं है, इसलिए उनकी पटरी भाजपा के विधायकों से नहीं बैठ रही है। माना जाता है कि क्षेत्रीय सांसद सांवरलाल जाट के विरोध के बाद भी जिला प्रमुख बनना वंदना को राजनीतिक दृष्टि से भारी पड़ रहा है। पिछले एक वर्ष में वंदना के पास ऐसी कोई उपलब्धि नहीं है जिसे गिनाया जा सके। कॉलेज में पढ़ाई करने वाली वंदना प्रभारी मंत्री वासुदेव देवनानी की मेहरबानी की वजह से जिला प्रमुख तो बन गई, लेकिन अब वंदना देवनानी से भी राजनीति का पाठ नहीं पढ़ रही है। वंदना के व्यवहार को लेकर भी जिला परिषद के अधिकारी संतुष्ट नहीं है।

(एस.पी. मित्तल)  (07-02-2016)
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