Sunday 15 May 2016

विधानसभा अध्यक्ष से लेकर मंत्रियों तक ने नहीं दिखाई संवेदनशीलता

#1359

पांच बच्चों की मौत से ज्यादा शिलान्यास और लोकार्पण में 
मशगूल रहे
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15 मई को अजमेर के जेएलएन अस्पताल में पांच नवजात बच्चों की एक साथ मौत हो गई। शहर भर में गमगीन माहौल था और शाम होते-होते मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने इस गंभीर मामले की विस्तृत रिपोर्ट  भी तलब कर ली, लेकिन इसे अफसोसजनक ही कहा जाएगा कि विधानसभा अध्यक्ष कैलाश मेघवाल, परिवहन मंत्री युनूस खान, महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री अनिता भदेल, शिक्षा राज्यमंत्री वासुदेव देवनानी, संसदीय सचिव सुरेश सिंह रावत आदि दिनभर शिलान्यास और लोकार्पण कार्यक्रम में मशगूल रहे। विधानसभा अध्यक्ष मेघवाल से लेकर सभी मंत्री अपने आप को गरीबों का हमदर्द बताते है। गत वर्ष मेघवाल ने तो कहा था आज भी दलितों पर अत्याचार हो रहे है, लेकिन 15 मई को उन्हीं मेघवाल ने पांच बच्चों की मौत पर सहानुभूति के दो शब्द भी नहीं कहे। अजमेर के सरकारी अस्पताल में मृतक बच्चों के माता-पिता और परिजन बिलखते रहे, लेकिन मेघवाल और मंत्रियों ने कोई सुध नहीं ली। सिर्फ दिखाने के लिए अनिता भदेल कुछ क्षणों के लिए अस्पताल गई, लेकिन फिर से अपने समारोहों में व्यस्त हो गई। 15 मई को राजस्थान मेघवाल शिक्षा शोध संस्थान एवं सेवा ट्रस्ट के नवनिर्मित प्रशासनिक ब्लॉक का लोकार्पण, जयपुर रोड स्थित महिला एवं बाल विकास विभाग के नए भवन का शिलान्यास तथा शाम को चन्दबरदाई नगर में सड़क के लोकार्पण समारोह में इन सभी ने भाग लिया। मेघवाल वर्ष 1980 में अजमेर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र से विधायक चुने गए थे। इसलिए चन्दबरदाई नगर में जब सड़क का लोकार्पण किया तो पुरानी यादों को भी ताजा किया। सवाल यह नहीं है कि गमगीन और शोक के माहौल में मेघवाल और मंत्रियों ने शिलान्यास, उद्घाटन का लोकार्पण क्यों किया? सवाल यह है कि सत्ता का सुख भोग रहे इन लोगों को उन परिजनों के प्रति भी सहानुभूति जतानी चाहिए थी जिनके बच्चों की मौत हुई। अच्छा होता विधानसभा  अध्यक्ष दलितों के मसीहा बनकर अजमेर के जेएलएन अस्पताल में जाते और मौतों के बारे में जानकारी लेते। विधानसभा अध्यक्ष के पास तो असीमिति विशेषाधिकार है। ऐसे में क्या उनका दायित्व नहीं बनता कि वे परिजनों के प्रति संवेदना दिखाते। ऐसा प्रतीत होता है कि सत्ता में आने के बाद नेताओं की मानसिकता बदल जाती है। नेताओं की कथनी और करनी में फर्क नजर आता है।
सीएम ने मांगी रिपोर्ट :
पांच बच्चों की मौत पर सीएम वसुंधरा राजे ने रिपोर्ट तलब की है। सीएम ने कलेक्टर गौरव गोयल को निर्देश दिए कि पूरे घटनाक्रम की रिपोर्ट बनाकर तुरंत भेजी जाए।

(एस.पी. मित्तल)  (15-05-2016)
(spmittal.blogspot.in) M-09829071511

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